किस कदर अंजान है यह
किस कदर अंजान है
यह सिलसिला ऐ इश्क,
मोहब्बत तो कायम रहती है मगर
इन्सान टूट जाते है !!
kis kadar anjaan hai
yah silasila ai ishk,
mohabbat to kaayam rahati hai magar
insaan tut jaate hai !!
Broken Heart Shayari
2 years ago
किस कदर अंजान है
यह सिलसिला ऐ इश्क,
मोहब्बत तो कायम रहती है मगर
इन्सान टूट जाते है !!
kis kadar anjaan hai
yah silasila ai ishk,
mohabbat to kaayam rahati hai magar
insaan tut jaate hai !!
2 years ago