हर जुर्म पे उठती
हर जुर्म पे
उठती है उँगलिया मेरी तरफ,
मेरे सिवा शहर में मासूम
है लोग सारे !!
har jurm pe
uthati hai ungaliya meri taraf,
mere siva shahar mein maasum
hai log saare !!
Sad Shayari
2 years ago
हर जुर्म पे
उठती है उँगलिया मेरी तरफ,
मेरे सिवा शहर में मासूम
है लोग सारे !!
har jurm pe
uthati hai ungaliya meri taraf,
mere siva shahar mein maasum
hai log saare !!
2 years ago